कालसर्प दोष क्या होता है | कालसर्प दोष क्यों होता है | सावन में कालसर्प दोष के उपाय | कालसर्प दोष के उपाय |कालसर्प दोष के लक्षण और उपाय | कालसर्प दोष दूर करने का 1 रामबाण उपाय |

जब भी किसी की कुंडली में राहु और केतु के बीच में सारे ग्रह आ जाते हैं इसका अर्थ होता है इस कुंडली में कालसर्प दोष है कालसर्प दोष में मुंह का हिस्सा राहु की तरह माना जाता है और आखरी का हिस्सा केतु की तरफ माना जाता है।कालसर्प दोष कहते हैं|
कालसर्प दोष क्या होता है | कालसर्प दोष क्यों होता है | सावन में कालसर्प दोष के उपाय | कालसर्प दोष के उपाय |कालसर्प दोष के लक्षण और उपाय | कालसर्प दोष दूर करने का 1 रामबाण उपाय |

कालसर्प दोष क्यों होता है?

कालसर्प दोष किसी की कुंडली में पिछले जन्मों के कर्म और प्रारंभ की वजह से कुंडली के अंदर बनता है।

कालसर्प दोष को दोष क्यों कहते हैं?

कालसर्प दोष को दोष इसलिए माना जाता है क्योंकि जब भी यह किसी की कुंडली में उपस्थित होता है। तो उस व्यक्ति को जिंदगी में स्थिरता की कमी होती है ग्रोथ की कमी आती है ज्यादातर देखा जाता है कि व्यक्ति को कोई न कोई परेशानी टेंशन बनी रहती है यह दिक्कत कुछ भी हो सकती है। कैरियर से रिलेटेड परिवार से रिलेटेड, कई बार सेहत की परेशानी भी होती है और कई बार तो देखा गया है कि ऐसा भी होता है कि बीमारी भी पकड़ में नहीं आती हैं

कालसर्प दोष के उपाय।

1. द्वारा कालसर्प दोष का निवारण किया जा सकता है।
2. राहु का मंत्र 108 बार रोज करने से भी फायदा होता है और मां दुर्गा का मंत्र भी रोजाना करना चाहिए
3. केतु के उपाय के लिए गणेश जी की पूजा आराधना मंत्र किया जा सकता है।
4. राहु केतु की पूजा के लिए अनुष्ठान भी कराया जा सकता है।
5. गणेश जी दुर्गा माता का मंत्र जाप करके कालसर्प दोष को ठीक किया जा सकता है।
6. जिनकी कुंडली में कालसर्प दोष होता है उन्हें प्रतिदिन शिवलिंग पर जल चढ़ाना चाहिए।
कालसर्प दोष के बारे में विद्वानों के अलग-अलग मत होते हैं कोई मानता है कि कालसर्प दोष होता है और किसी का कहना है कि कालसर्प दोष का अस्तित्व ही नहीं है परंतु ऐसा नहीं है कालसर्प दोष का कोई अस्तित्व ना हो

कालसर्प दोष का पता कैसे लगाया जा सकता है?

यदि किसी की कुंडली में राहु और केतु के मध्य सारे ग्रह आ जाएं इससे पता चलता है कुंडली में कालसर्प दोष विद्यमान है।

कालसर्प दोष के लक्षण और उपाय |

कालसर्प दोष का असर व्यक्ति की सफलता असफलता और सेहत पर पड़ता है। शादी में मुश्किल होती है या
बहुत देर से होती है किसी किसी का तो विवाह भी नहीं हो पाता है। संतान उत्पत्ति होने में भी कालसर्प दोष का प्रभाव पड़ता है या हो सकता है व्यक्ति को सपने में सांप नजर आए या सपने में कोई स्त्री रोती हुई दिखाई दे ऐसे कुछ लक्षण होते हैं जिनसे काल सब के बारे में जाना जा सकता है यदि सपने में आकर कोई व्यक्ति आपसे कुछ मांगता है तो भी कालसर्प दोष का प्रभाव माना जाता है। व्यापार में हानि होना अपनों के द्वारा ठगा जाना, कई बार ऐसा भी देखा गया है कि व्यक्ति का आधा जीवन स्ट्रगल में ही गुजर जाता है।

कालसर्प दोष का निवारण कैसे करें?

कई बार कालसर्प दोष का निवारण सब लोग नहीं कर पाते हैं तो उनके लिए कुछ आसान तरीके हैं जिससे वह काल सर्प दोष का निवारण कर सकें।
1.शनिवार के दिन कोयले के कुछ टुकड़े बहते हुए पानी में छोड़ देना चाहिए
2.चांदी के नाग नागिन का जोड़ा बहते पानी में छोड़ सकते हैं।
3.तांबे का सर्प किसी भी मंदिर में दान किया जा सकता है और यदि यह उपाय नाग पंचमी के दिन किए जाएं तो इसका फल और भी बढ़ जाता है।
4.जो सपेरे होते हैं उनसे नाग नागिन का जोड़ा खरीद कर पानी में प्रवाहित करना भी फायदेमंद होता है।
5.नाग पंचमी पर यदि मंदिर में शिवलिंग के आसपास सफाई करवाते हैं सभी कालसर्प दोष का निवारण आसानी से संभव है।
6.इसके अलावा विष्णु भगवान की शेषनाग पर लेटे हुए तस्वीर को अपने घर में लगा सकते हैं|

कालसर्प दोष का जीवन में प्रभाव
कुंडली में कालसर्प दोष पाया जाता है वह लोग खाना जल्दी-जल्दी खाते हैं | ऐसे लोग रोमांटिक होते हैं।जिनकी कुंडली में कालसर्प दोष होता है उन्हें गुस्सा भी अधिक आता है कई बार ऐसे लोग बदले की भावना भी रखते हैं ऐसे लोग म्यूजिक भी पसंद करते हैं और अपने पार्टनर को किसी के साथ भी बाटना पसंद नहीं करते हैं।

सावन में कालसर्प दोष के उपाय | कालसर्प दोष दूर करने का 1 रामबाण उपाय |

सावन में नाग नागिन का जोड़ा अगर पंचमी तिथि पर शिवलिंग पर अर्पित करते हैं तो वह दोष आपको परेशान नहीं करेगा। सुकून बढ़ जाता है।

कालसर्प दोष के फायदे
1.कालसर्प दोष के साथ में शुक्र ग्रह अच्छी में स्थिति में बैठा हो| ऐसे व्यक्ति को वैवाहिक जीवन का पूरा आनंद प्राप्त होता है।
2.कुंडली में राहु यदि अच्छी स्थिति में हो ऐसा कालसर्प दोष व्यक्ति को जीवन में सफलता की ओर ले जाता है।
3.यदि किसी की कुंडली में राहु और चंद्रमा अच्छी स्थिति मैं बैठा हो तो दिमाग बहुत तेज होता है और शुभ फल देता है बड़े पदों पर भी नियुक्त होने के लिए मदद करता है

कालसर्प दोष कितने प्रकार का होता है?

1.कुंडली में फर्स्ट हाउस यानी पहले घर में कालसर्प दोष ज्यादा कष्ट देता है।
2.यदि राहु और केतु से संबंधित कालसर्प दोष पराक्रम भाव तीसरे भाव में बनता हो तो वह शुभ फल देने वाला होता है। केवल मेहनत ज्यादा करनी पड़ती है।
3.कालसर्प दोष चौथे भाव में बनता है तो परिवार के सुख में थोड़ा कमी करता हैं और साथ ही घर से थोड़ी दूरी बना देता है।
4.कुंडली में यदि मध्य में पाप ग्रह बैठा हो तो अच्छा फल देता है थोड़ा संतानोत्पत्ति में भी दिक्कत देता है।
5.छठे भाव बनने वाला कालसर्प दोष शत्रु हंता का काम करता है यानी शत्रुओं का नाश करने का काम करता है।
6.यदि यह दोष सप्तम भाव में बनता है तो भी वह थोड़ा बहुत कष्ट पति पत्नी के रिश्ते में देता है परंतु यदि उसके साथ शुक्र अच्छी स्थिति में विराजमान हो तो वह भी अच्छा फल देगा
7.इस तरह से कालसर्प योग अलग-अलग हाउसेस में अलग-अलग प्रभाव देता है
Tags

एक टिप्पणी भेजें

0 टिप्पणियाँ
* Please Don't Spam Here. All the Comments are Reviewed by Admin.